नई दिल्ली : भारत देश की संस्कृति ही जाति पर टिकी है आज भी समाज में जाति को ही सर्वोपरि माना जाता है। लेकिन जातियों के बीच की इस दूरी को कम करने के लिए दिल्ली से सटे गाजियाबाद में शनिवार को एक ऐसा आयोजन हुआ। जहां एक छत के नीचे तीन ताकतवर बिरादरियों ने रोटी और बेटी का रिश्ता कायम करने का मन बनाया। संविधान के मुताबिक ओबीसी तबके से ताल्लुक रखने वाले गुर्जर, जाट और यादवों ने यह पहल की है।
गुर्जर, जाट और यादव नहीं, गजय कहिए
गाजियाबाद के कविनगर इलाके में अपना भवन में शनिवार को गुर्जर, जाट व यादव समाज के लोगों ने एक संयुक्त सम्मेलन का आयोजन किया। जिसमें गुर्जर जाट यादव को गजय नाम दिया गया। इस दौरान तीनों बिरादरियों के बीच रोटी और बेटी के संबधों की संभावना पर विचार गोष्ठी आयोजित की गई। जिसमें तीनों ही बिरादरियों से जुड़े गणमान्य लोगों ने अपनी राय रखी। एक इस मौके पर सर्वसम्मति से एक प्रस्ताव पारित किया गया। जिसमें कई जरूरी चीजों का उल्लेख किया गया।
गोष्ठी के दौरान मौजूद तमाम लोगों ने दावा किया कि यह बैठक एक नई क्रांति का आगाज है। जिसका असर लंबे समय तक और बहुत बड़े तबके पर पड़ेगा। गाजियाबाद पूर्व मेयर आशु वर्मा ने कहा कि तीनों जातियां मिलकर इस देश में एक बड़ी ताकत के रूप में खड़ी होंगी। जो पूरे देश के लिए एक उदाहरण बन सकता है। हमारा रहन-सहन, वेशभूषा, आचार-विचार, हुक्का पानी सब एक है। इसलिए हमें एक होना जरूरी है ।
इस मौके पर युवा जाट समाज के अध्यक्ष अरुण चौधरी भुल्लन ने कहा कि आज का युवा जातिवाद का विरोध करता है। इस उद्देश्य से तीनों जातियों के रोटी -बेटी के संबंध जरूर होना चाहिए । सुभाषवादी समाजवादी पार्टी के संस्थापक सतेंद्र यादव ने कहा कि इस गठजोड़ के प्रयास लंबे समय से चल रहे थे। जिसे आखिरकार सफलता मिल ही गई।
बैठक के दौरान एक प्रस्ताव भी सर्वसम्मति से पारित किया गया। जिसमें कुल 6 बिंदू शामिल थे। सबसे पहले गुर्जर, जाट व यादव के नए गठजोड़ गजय महासभा को पंजीकृत करवाना। महासभा के अध्यक्ष समेत कार्यकारणी की नियुक्ति हो। जल्द ही राष्ट्रीय स्तर पर बड़ा अधिवेशन बुलाया जाए। गजय महासभा का प्रधान कार्यालय गाजियाबाद में खोला जाए। मृत्यु भोज व दहेज आदि बुराइयों को दूर करने के लिए अभियान चलाया जाए। इसके अलावा बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ के नारे पर अमल किया जाए।
इस मौके पर नरेंद्र चौधरी, बबली कसाना, देवेंद्र यादव, प्रदीप चौधरी, अजय पाल प्रमुख, अमरजीत सिंह बीड़ी, सतपाल चौधरी, प्रताप चौधरी, विजेंद्र यादव, सतपाल यादव एडवोकेट, लोकेश चौधरी, केपी यादव, वंदना चौधरी, अजय खारी, शीशपाल भाटी, दीपक नागर आदि लोग उपस्थित रहे।