अयोध्या में राम मंदिर निर्माण कार्य रिकॉर्ड रफ्तार के साथ किया जा रहा है और पिछले कुछ हफ्तों से यहां निर्माण कार्य को तेज रफ्तार से पूरा करने के लिए ट्रस्ट के मैनेजमेंट ने वर्कर्स की संख्या को बढ़ा भी दिया है। अब 1600 वर्कर्स को इसके निर्माण कार्य में लगाया गया है और पहले यह संख्या 550 थी। दरअसल ट्रस्ट जनवरी 2024 तक मंदिर निर्माण को पूरा कर लेना चाहता है, इसी को ध्यान में रखते हुए वर्कर्स की संख्या में बढ़ोत्तरी भी की गई है। मंदिर के निर्माण कार्य को जल्द से जल्द पूरा कर लिया जाए और इसके लिए काम करने के घंटों में भी इजाफा किया गया है। इसी कड़ी में पहले 18 घंटे की शिफ्ट में यहां काम हो रहा था लेकिन अब निर्माण कार्य 24 घंटे की शिफ्ट में चल रहा है। भगवान राम के गर्भ ग्रह में अब सिर्फ फर्श और इलेक्ट्रिक काम ही बचा है बाकि सारे काम को पूरा कर लिया गया है। यहीं पर भगवान राम की मूर्ति को स्थापित किया जाना है। यहां भव्य कार्यक्रम में अगले वर्ष जनवरी माह में प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम होना है। श्री राम जन्मभूम तीर्थ क्षेत्र के प्रोजेक्ट मैनेजर जगदीश अफाले ने यह बताया कि मंदिर के ग्राउंड फ्लोर और पहली मंजिर का काम जनवरी माह में पूरा हो जाएगा। साथ ही अभी हमारी प्राथमिकता ग्राउंड फ्लोर को दिसंबर माह तक पूरा करने की है, इसे प्राण प्रतिष्ठा के लिए पूरा भी करना है। पहली मंजिर पर काम 1 जुलाई तक पूरा हो जाएगा और इसके पिलर, स्लैब आदि को जनवरी तक पूरा कर लिया जाएगा ताकि श्रद्धालु यहां दर्शन के लिए भी आ सकें। लेकिन पहली मंजिल पर मार्च 2024 तक प्रवेश की इजाजत नहीं होगी, जबतक कि यहां का काम पूरा न हो जाएं।प्रोजेक्ट मैनेजर ने यह बताया कि तीन मंजिल का कार्य पूरा होने में डेढ़ साल लगेंगे और बारिश की वजह से काम काफी प्रभावित भी हो रहा है। बाहर परकोटा का कार्य सबसे ज्यादा प्रभावित हो रहा है पर अंदर का काम बिनी किसी देरी के किया जा रहा है।काम की रफ्तार को बढ़ाने के लिए अब 24 घंटे यहां पर काम हो रहा है और तकरीबन 1200 कर्मचारी जिसमे इंजीनियर, सुपरवाइजिंग स्टाफ, मजदूर यहां पर काम में जुटे हैं। ट्रस्ट के सदस्य अनिल मिश्रा और इंजीनियरिंग टीम के राधे जोशी ने यह बताया है कि शाम के बाद सिर्फ कार्बिंग से संबंधित काम रूकता है बाकि का सिविल वर्क निर्बाध रूप से जारी ही रहता है।