पटना: बिहार के नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने बुधवार को सीएम नीतीश कुमार को पत्र लिखा था.परंतु जब उस पत्र के बारे में मुख्यमंत्री नीतीश यादव से बात की गई तो उन्होंने साफ इनकार कर दिया कि वह पत्र उन्हें मिला ही नहीं ,इस पर तेजस्वी ने तंज़ कसा ” कि एक प्रदेश के मुख्यमंत्री इतने अंधकार में कैसे रह सकते है कि नेता प्रतिपक्ष के जन सरोकार से जुड़े अति महत्वपूर्ण पत्र के बारे में सार्वजनिक रूप से कहते है कि उन्हें पत्र नहीं मिला?पत्र लिखकर तेजस्वी यादव ने ये मांग की थी कि बिहार में हर साल बाढ़ और सुखाड़ की विभीषिका के कारण होने वाले नुकसान और नदी जोड़ने की लंबित योजना के महत्व को समझते हुए राज्यहित में उनके नेतृत्व में एक सर्वदलीय प्रतिनिधि मंडल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलकर आपदा संबंधित उचित मांगों को रखे. हालांकि, जब मुख्यमंत्री से पत्र के संबंध में पूछा गया तो उन्होंने जानकारी नहीं होने की बात कहते हुए तेजस्वी यादव पर पलट वार किया
उन्होंने कहा कि हमें कोई पत्र नहीं मिला है. पत्र हमें मिलता कहां है. पत्र तो हमसे पहले मीडिया को मिल जाता है. पत्र मिलेगा तब न पढ़ेंगे. मीडिया को पत्र देने से नहीं चलेगा. हालांकि, तेजस्वी की मांगों को सुनकर नीतीश कुमार ने दावा करते हुए कहा कि बाढ़ प्रबंधन के लिए सरकार लगातार काम कर रही है. केंद्र की टीम ने भी आ कर मुआयना किया है.
इधर, मुख्यमंत्री के वार पर तेजस्वी ने पलटवार किया और सीएम समेत सीएम सचिवालय पर भी हमला बोला. तेजस्वी ने ट्वीट कर लिखा, ” लगता है मुख्यमंत्री ही नहीं बल्कि संपूर्ण मुख्यमंत्री सचिवालय भी थक चुका है, जो नेता विरोधी दल के पत्र को भी अग्रेतर कार्रवाई के लिए सीएम को प्रेषित नहीं करता. दोपहर 12:15 बजे मुख्यमंत्री सचिवालय में पत्र प्राप्ति की पावती सबके साथ साझा कर रहा हूं. पहले अपनी व्यवस्था को सुधारिए.”
उन्होंने एक अन्य ट्वीट में पूछा, ” एक प्रदेश के मुख्यमंत्री इतने अनजान, भ्रमित और अंधकार में कैसे रह सकते है कि नेता प्रतिपक्ष के जन सरोकार से जुड़े अति महत्वपूर्ण पत्र के बारे में सार्वजनिक रूप से कहते है कि उन्हें पत्र नहीं मिला? सीएम सचिवालय से दोपहर 12:15 बजे प्राप्त पत्र की रसीद आपके सामने है.”