कस्तूरी साहू की रिपोर्ट
छत्तीसगढ़. किसी गर्भवती के लिए भारी काम करना भी जोखिम माना जाता है, लेकिन यह लेडी कमांडो कंधे पर एके-47 उठाए दुर्गम जंगलों में घूमती रही। वो उन खतरनाक जंगलों में, जो नक्सलियों के गढ़ माने जाते हैं। ये हैं दंतेश्वरी फाइटर्स की कमांडो सुनैना पटेल। ये अब मां बन गई हैं। सुनैना ने एक बेटी को जन्म दिया है। वे कहती हैं कि उन्होंने पहले भी अपनी ड्यूटी को शिद्दत से निभाया और अब बेटी होने के बाद भी निभाएंगी। बता दें कि गर्भवती होने के बावजूद सुनैना 7 महीने तक गश्त करती रहीं। एसपी डॉ अभिषेक पल्लव ने सुनैना की तारीफ की है। इस कमांडो के ऊपर कोई दबाव नहीं था। हकीकत तो यह है कि पुलिस विभाग को मालूम ही नहीं था कि उसकी जाबांज लेडी कमांडो गर्भवती है। क्योंकि उसने खुद यह जानकारी विभाग को नहीं दी थी। इसके पीछे सिर्फ इतनी सी वजह थी..क्योंकि वो अपनी ड्यूटी से पीछे नहीं हटना चाहती थी। अब जबकि यह मामला सामने आया है, तो पुलिस विभाग ने अपनी लेडी कमांडो के साहस को सैल्यूट करते हुए फील्ड ड्यूटी से अलग किया है। दंतेवाड़ा के SP अभिषेक पल्लव ने बताया था कि यही लोग पुलिस की शक्ति हैं जो हर परिस्थिति में अपनी ड्यूटी निभाते हैं।
कमांडो सुनैना पटेल ने अपनी ड्यूटी को कभी बोझ की तरह नहीं लिया। उनका मानना है कि पुलिस में हम सोच-समझकर आए..तो फर्ज बनता है कि उसे पूरी ईमानदारी, जोश और जज्बे के साथ निभाया जाए। बता दें कि बस्तर में मई 2019 को ‘दंतेश्वरी फाइटर्स’ का गठन किया गया था। इसमें महिला पुलिसकर्मियों के अलावा सरेंडर करने वालीं महिला नक्सली शामिल की गई हैं।
‘दंतेश्वरी फाइटर्स’ में 30 लेडी कमांडो हैं। यह टीम डिस्ट्रिक्ट रिजर्व गार्ड्स (डीआरजी) के तहत कंट्रोल की जाती है। इस टीम के लिए बकायदा कड़ी ट्रेनिंग से गुजरना पड़ता है। इस टीम को लीड करती रही हैं सुनैना पटेल।