रिपोर्ट-संजय सिंह राणा
चित्रकूट- बुंदेलखंड के सबसे पिछड़े जिलों में शुमार चित्रकूट जिले के मानिकपुर पठारी क्षेत्र को हमेशा से दस्युओं का गढ़ माना जाता रहा है जहां पर कई दशकों तक दस्यु सम्राट अपना वर्चस्व कायम किए हुए थे लेकिन दस्युओं के खात्मे के बाद मानिकपुर के पठारी क्षेत्र को पर्यटन के क्षेत्र के रूप में देखा जाने लगा है जिसके कारण मानिकपुर के पठारी क्षेत्र के हालात अब धीरे-धीरे बदलने लगे जिला प्रशासन के अथक प्रयासों से जहां शबरी जलप्रपात के सौंदर्यीकरण का कार्य कराया जा रहा है वह पर्यटकों के लिए लुभावना बनाया जा रहा है वहीं दूसरी ओर मानिकपुर की काली घाटी के ऊपर सेल्फी प्वाइंट बनाया जा रहा है जिस पर बड़ी तेजी से कार्य करवाया जा रहा है शासन द्वारा मानिकपुर क्षेत्र के विकास के लिए पर्यटन स्थलों को ज्यादा से ज्यादा बढ़ावा दिया जा रहा है जिससे पर्यटकों का आगमन क्षेत्र में हो सके मानिकपुर तहसील के अंतर्गत कई ऐसे रमणीक स्थल हैं जहां पर जिला प्रशासन द्वारा नजर दौड़ाई जा रही है उन पर्यटन स्थलों को चिन्हित कर उनका सुंदरीकरण कराया जा रहा है पठारी क्षेत्र में पर्यटन का हब बन जाने से ज्यादातर पर्यटक इस पठारी क्षेत्र के सुंदर वादियों का लुफ्त उठा सकेंगे व पर्यटन के क्षेत्र में आगे बढ़ने के साथ साथ रोजगार के अवसर प्रदान होंगे l