सरवन कुमार सिंह की रिपोर्ट
लखनऊ: उत्तर प्रदेश केे विभिन्न जिलों में हुई भारी बरसात से किसानों तथा गरीबों के घरों को काफी नुकसान हुआ है। इस बरसात से किसानों के आलू ,गेंहू को काफी नुकसान हुआ है। वहीं कई जिलों से मौत की भी खबर है। आजमगढ़ के कई इलाकों में चक्रवाती तूफान ने जमकर तबाही मचाई। फूलपुर तहसील के मुनौवरपुर गांव में कई लोगों के घर उजड़ गए। एक दर्जन से अधिक लोग घायल हो गए।
वाराणसी के ग्रामीण इलाकों में कई बिजली पोल गिर गए हैं। इससे गुरुवार की देर शाम तक कई इलाकों में बिजली गुल रही। अधिकारी फिलहाल शुक्रवार तक आपूर्ति शुरू होने की संभावना जता रहे हैं। मौसम विभाग ने 14 मार्च तक पूर्वी उत्तर प्रदेश में अलर्ट जारी किया है। 13 व 14 मार्च को पूर्वी उत्तर प्रदेश में 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं। तेज बारिश के साथ ही ओला पडऩे की भी आशंका है।
लखनऊ ,आजमगढ़ में आए चक्रवाती तूफान ने जमकर तबाही मचाई। वहीं ओला वृष्टि से फूलपुर, लालगंज और मेंहनगर तहसील क्षेत्र में सैकड़ों एकड़ फसल बर्बाद हो गई। वहीं तेज हवा व बेमौसम बरसात के चलते गरीबे के घर गिर गये है। वहीं बुधवार की रात लगभग एक बजे महिलाएं,बच्चे और बुजुर्ग आशियाने के अंदर सो रहे थे। लगभग डेढ़ बजे चक्रवाती तूफान के साथ ओलावृष्टि शुरू होते ही गांव में चीख-पुकार मच गई। छप्पर और टीनशेड की दीवार ढह गई। आधे घंटे के अंदर ही तूफान पूरे गांव को बर्बाद कर गया। आशियाने पर पेड़, बिजली के पोल गिर जाने से कई लोग घायल हो गए। गांव से निकलने वाले रास्ते पर पेड़ गिर जाने से निकलना मुश्किल रहा।
गांव के लोगों का कहना है कि आसमान से एक से दो किलो तक के ओले गिर रहे थे। इससे घर में लगे टीनशेड टूट गए। घर के ऊपर बर्फ की मोटी चादर फैल गई थी। इसके साथ ही भारी ओला के प्रभाव से मड़ई व झोपड़ी पूरी तरह से चौपट हो गई। सरसो, अरहर, मटर चना, प्याज सहित अन्य फसले बर्बाद हो गई हैं। अचानक आए तूफान से लालगंज, फूलपुर तहसील क्षेत्र में लगभग 370 हेक्टेयर फसलें बर्बाद होने का जिला प्रशासन ने अनुमान लगाया है। दो दर्जन से अधिक घरों के गिरने का अनुमान है। पल्हना ब्लाक, मेहनगर तहसील क्षेत्र में भी काफी नुकसान हुआ है।
गौरतलब है कि बे मौसम बरसात से किसान चिंता में क्यों कि पिछले हफ्ते बरसात से किसानों को कफी नुकसान हुआ था। जिस पर मुख्यमंत्री ने संज्ञान लेते हुए। डीएम तथा मंत्री को निर्देश दिया था कि किसानों का फसलों का आकनल कर के उन्हें उचित लाभ दिलाने का काम करें। अब एक सप्ताह भी नहीं हुआ और किसानों पर दोहरी मार पड़ गई है। ऐसे में अन्यदाता का दुखी होना स्वभाविक है। वहीं अधिकारियों ने बताया कि बरसात व ओलावृष्टि के कारण करीब 20 फीसदी तबाह हो गई। इसी तरह 15 हजार हेक्टेयर सरसों बोई गई थी, जिसमें से अधिकांश अभी भी खेतों व खलिहान में पड़ी हुई है। इसके अलावा आम, चना, मटर व सब्जी की फसलों को नुकसान हुआ है। कहा कि विभाग बरसात के कारण हुए नुकसान का आकलन कर रहा है। शुक्रवार दोपहर बाद तक इसका आंकड़ा और सटीक मिल पाएगा। बताया कि गेहूं की जो फसल लेट (गिर) पड़ी है, उसमें दाना पडऩा संभव नहीं है। वहीं मौसम बिभाग ने लखनऊ,गोड़,गाजीपुर, आज़मगढ़,जौनपुर, बाराबंकी, अभी और बरसात होने की संभावना जताई है।