भुनेश्वर: आजकल पत्रकारिता सही और निडर खबरें प्रकाशित करने के लिए कम और गलत तथा अश्लील सामग्री परोसने के लिए ज्यादा बदनाम हो रहा है। ऑनलाइन न्यूज़ पोर्टल अपने पोर्टल की रैंकिंग बढ़ाने के लिए गलत और अश्लील सामग्री का धड़ल्ले से उपयोग कर रहे हैं। इसी क्रम में उड़ीसा में एक ऑनलाइन पोर्टल आधारित पत्रकार पर भारत की फर्राटा धावक दुती चंद ने आरोप लगाया है कि पत्रकार ने उनकी छवि धूमिल करने का प्रयास किया है। जिससे उन्हें काफी नुकसान और शर्मिंदगी का सामना करना पड़ा है।
भारत की फर्राटा धावक दुती चंद ने एक ऑनलाइन न्यूज़ चैनल के संपादक पर उनके गलत फोटो छापने उगाही करने का आरोप लगाया है इसके बाद संपादक को भुनेश्वर में हिरासत में ले लिया गया है। दुती चंद ने न्याय न मिलने पर ओडिशा छोड़ने की धमकी दी है। उन्होंने पत्रकार सुधांशु शेखर राउत और आईटीआई कार्यकर्ता प्रदीप प्रधान पर सोशल मीडिया पर दुर्भावनापूर्ण अभियान चलाने का आरोप लगाया है। वह टोक्यो ओलंपिक में 200 मीटर स्पर्धा की तैयारी कर रही थी ओलंपियन ने 5 करोड़ रुपया का मानहानि का मुकदमा दायर किया है। उसने आरोपी पत्रकार के खिलाफ आपराधिक धमकी अश्लील सामग्री प्रकाशित करने और महिला के शील का अपमान करने के आरोप भी लगाए है।
पुलिस ने वेब चैनल के संपादक सुधांशु शेखर आउट को हिरासत में ले लिया है। उसके पास से कंप्यूटर और बाकी सामग्री भी जप्त कर ली है। पुलिस इसकी जांच कर रही है। आरोपी संपादक से पूछताछ की जाएगी अधिकारी ने बताया कि संपादक के खिलाफ आईपीसी सेक्शन 292-2(अश्लील सामग्री छापन) 354-ए( महिला को परेशान करने)506( अपराधिक धमकी देने)385( उगाही करने क प्रयास मैं व्यक्ति को चोट पहुंचाने)और 120-बी( आपराधिक साजिश करने )के तहत केस दर्ज किया गया है।
दुती चंद ने संपादक के अलावा एक आरटीआई कार्यकर्ता प्रदीप प्रधान के ऊपर भी मानसिक प्रताड़ना और आपराधिक धमकी देने के आरोप लगाए हैं। पुलिस अधिकारी ने बताया प्रधान से भी पूछताछ की जाएगी क्योंकि उनका नाम भी f.i.r. में आया है। राउत और प्रधान के अलावा एक अन्य पत्रकार का नाम भी f.i.r. में है। अपनी शिकायत में दुती ने कहा कि चैनल के सीनियर पत्रकार ने उनसे वह इंटरव्यू ना छापने के पैसे मांगे जिसमे उनके परिवार ने कथित तौर पर उनके निजी मुद्दों पर बात की है। दुती चंद ने इसे लेकर कोर्ट का भी रुख किया है और मानहानि का मुकदमा भी दाखिल किया है।
उन्होंने इसमें 8 लोगों को और एक संस्थान कोे दोषी बनाया है। जिसमें वेब पोर्टल के संपादक फेसबुक और गूगल शामिल हैं। भुनेश्वर में सिविल जज की अदालत ने पोर्टल और संपादक को दुती के खिलाफ गलत खबर चलाने पर तत्काल रोक लगा दी है। मामले की अगली सुनवाई 15 सितंबर को है।