प्रकृति प्रेमियों व पर्वतारोहियों का समूह यारी यायावर असीम अशेष संस्था का प्रथम स्नेह मिलन कार्यक्रम हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला से 160 किलोमीटर दूर भारत और तिब्बत की सीमा के नजदीक पहाड़ों से घिरे खुबसूरत गांव सराहन में स्थित मां भीमाकाली मंदिर के प्रांगण में सुशांत सिंहल जी की अध्यक्षता में सफलता पूर्वक संपन्न हुआ।
इस समूह में जुड़े कोरांव के शिक्षक जो इस संस्था के फाउंडर मेम्बर भी है उन्होंने बताया कि भारत के अलग अलग राज्यों से लगभग 80 की संख्या में यायावर इस स्नेह मिलन कार्यक्रम में शामिल हुए।इस यायावरी समूह में शामिल सभी यायावरो का उद्देश्य भारत के हर जगह पर घूमने का होता है और इस दौरान अपने देश की खुबसूरती को आम जनमानस को दिखाने का प्रयास किया जाता है।
इस कार्यक्रम में शामिल सभी यायावरो के द्वारा जंगलों को ना काटे, पर्वतों को स्वच्छ रखें, नदियों का पानी गंदा ना करें ,सभी जनमानस से प्रार्थना की गयी। रात में अलग अलग राज्यों से आये हुए यायावरों के द्वारा हिमाचल प्रदेश का पारम्परिक नृत्य किया गया।
इस कार्यक्रम को सफल बनाने में ब्रिजेश कुमार जी, त्रिलोक राज जी, आज्ञा छट्टू जी,टी.आर. बुशहरी जी का अथक एवं सराहनीय प्रयास रहा।
इस समूह में विभिन्न प्रदेशों से जुड़े सभी यायावरो में कभी विभिन्नता नहीं दिखाई देती।सब एक हैं,सबका उद्देश्य एक है। कार्यक्रम के दौरान गुजरात से आये यायावर ब्रजनंदन जायसवाल की तरफ से सभी यायावरो के लिए समूह का नाम लिखा हुआ टी-शर्ट भेंट की गई। जो इस समूह की एकता को दर्शाता है।