विशाल भगत की रिपोर्ट
जालंधर । रेलवे के क्वार्टर पूरी तरह से कंडम हो चुके हैं और गत वर्ष उन्हें गिराए जाना शुरू कर दिया गया था। मगर ध्वस्त करने की रफ्तार धीमी होने के कारण क्वार्टरों में गंदगी के ढेर लगने शुरू हो गए हैं। क्वार्टरों के आसापास बड़ी-बड़ी जंगली बूटी भी उग आई है। ऐसे में जहरीले कीड़ों आदि का डर भी रेल कर्मचारियों को सताने लगता है। रेलवे कालोनियों के 1-1 ब्लॉक में 15 से 20 क्वार्टर हैं और उनमें से इक्का-दुक्का क्वार्टर में ही रेल कर्मचारी अभी रह रहे हैं। बाकी एरिया जंगली बूटी से घिरा है। इस कारण वे भी अधिकारियों के आगे क्वार्टर खाली करने की अर्जी लगा चुके हैं। फिलहाल, मंजूरी ना मिलने की वजह से वे मजबूरी में क्वार्टरों में ठहरे हैं।यह हालात रेलवे कॉलोनी नंबर 1 से लेकर 3, अर्जुन नगर से सटे 40 क्वार्टर और गुरु नानक पुरा रोड से सटी डबल स्टोरी तक के बने हुए हैं। यहां बरसात की वजह से क्वार्टरों में पानी तो टपकता रहता ही है और जहरीले जीवों का अंदर दाखिल होना आम बात है।