पश्चिम बंगाल से बहादुरगढ़ के टिकरी बॉर्डर पर किसान आंदोलन में शामिल होने आई युवती से गैंगरेप के मामले में पुलिस लंबी जांच करने की तैयारी में है। पुलिस ने जांच के 20 चरण बनाए हैं। पुलिस की मानें तो वह काफी संख्या में किसान नेताओं को नोटिस देने की तैयारी में है।
जिन नेताओं कि मामले में छोटी से छोटी भूमिका थी, उनसे भी पूछताछ होगी। जिनके नाम अभी तक पुलिस की गुप्त जांच में सामने आए हैं। पुलिस ने उनकी कुंडली खंगाल ली है। इन किसानों से भी करीब 35 सवाल किए जाने हैं, जिनमें उनके फोन नंबरों व फोन पर बात से लेकर 13 अप्रैल से अब तक उनकी भूमिका को लेकर रिपाेर्ट तैयार की जानी है। वह जांच का दूसरा चरण होगा। इसके बाद अन्य 18 चरणों की जांच के बाद पुलिस किसी फैसले पर पहुंचेगी।
संयुक्त किसान मोर्चा के नेता योगेंद्र यादव काफी उखड़े से दिखाई दिए। बड़े किसान नेताओं की भूमिका की कुंडली खंगालने की तैयारी पर योगेंद्र ने कहा कि एसआईटी ही नहीं, चाहे सरकार डीजीपी से जांच करवा ले, हम तैयार हैं। हमें तो केवल पीड़िता को न्याय मिले व दोषियों को सजा मिले, उसी मांग पर अड़े हैं। आंदोलन को कमजोर करने के लिए सरकार लंबे समय से मौकों की तलाश कर रही है, जो कभी भी सफल नहीं होगी।
आपने पीड़िता की सहायता नहीं की। यादव ने कहा- उसे 24 अप्रैल को पता चला था कि युवती बॉर्डर पर परेशान व बीमार है। 25 अप्रैल को पता चला कि दोनों आरोपी युवती को लेकर बंगाल जा रहे हैं। तब उन्होंने युवती के मोबाइल पर फोन कर बंगाली में पूछा था कि क्या तुम सुरक्षित हो। युवती ने जवाब दिया- नहीं। फिर युवकों से पूछा था कि कहां लेकर जा रहे हो।
बाद में हांसी की लोकेशन मिलने पर उन्होंने युवकों को चेतावनी दी थी कि या तो वापस आ जाओ नहीं तो मैं पुलिस में शिकायत कर रहा हूं। तब युवक 25 अप्रैल को देर रात टिकरी बॉर्डर पर युवती को छोड़ गए थे। वहीं यादव ने बताया कि युवती से छेड़छाड़ से अधिक का मामला उन्हें 2 मई को पता लगा था।