डिलेश्वर प्रसाद साहू की रिपोर्ट
धमतरी – समाजसेवी व किसान मोर्चा के अधिवक्ता शत्रुहन साहू ने प्रेस नोट जारी कर बताया कि दिन प्रतिदन पेट्रोल डीजल के साथ-साथ बढ़ती महंगाई से आम जनता का जीवन बद्तर हो गई है, गैस की बढ़ती दामों ने रसोई का स्वाद बिगड़ दी है, डीजल – पेट्रोल के दामों में बेतहाशा वृघ्दि से त्रस्त देशवासी मोदी सरकार से पूछ रही है ,बहुत हुई जनता पर महंगाई की मार, कहां गुम हो गए मोदी सरकार ?डीजल के दाम बढ़ने से कृषि लागत बढ़ी है जिसके कारण दैनिक उपयोग की चीजों की दाम भी सुरसा के मुंह की तरह बेतहाशा बढ़ती जा रही है।ऐसे में कांग्रेस सरकार के खिलाफ मंहगाई के विरोध में खाली सिलेण्डर, टोकरी व सब्जियां लेकर विरोध प्रदर्शन करने वाले नौटंकीबाज भाजपा के नेतागण लापता हो गए हैं
जिसके विरोध में संयुक्त किसान मोर्चा दिल्ली ने 08 जुलाई को देशव्यापी विरोध प्रदर्शन का निर्णय लिया है।
किसान मोर्चा धमतरी के अधिवक्ता शत्रुहन साहू, टिकेश्वर साहू, सनत निर्मलकर, राम विशाल साहू, अशफाक हाशमी, भुनेश्वर साहू, मनोज भतपहरी, दिग्विजय साहू, रसूल खान, भीखम साहू, निशांत भट्ट, सत्यमपुरी गोस्वामी युगल किशोर साहू ने कहा कि महंगाई कम करने, भ्रष्टाचार खतम कर अच्छे दिन लाने के वायदे पर केन्द्र की सत्ता में आई मोदी सरकार ने जनता को राहत देने के वे सारे वायदे किये थे जिसे बड़ी बड़ी पोस्टरों में ’’बहुत हो गई महंगाई की मार, अबकी बार मोदी सरकार। बहुत हो गई जनता पर पेट्रोल डीजल की मार, अबकी बार मोदी सरकार। बहुत हो गई भ्रष्टाचार, अबकी बार मोदी सरकार’’ जैसे लोकलुभावन नारे से जनता को अच्छे दिन का सपना दिखाए थे । लेकिन सपनों के सौदागर काॅरपोरेट परस्त और घोर फासीवादी मोदी सरकार विगत 7 माह से आंदोलनरत किसानों को उनकी उपज का वाजिब दाम देने के बजाय पूंजीवादी ताकतों की गुलामी करने में कांग्रेस सरकार को भी पीछा छोड़ दिया है । नवम्बर 2014 में पेट्रोल तथा डीजल पर कुल एक्साईज ड्यूटी (उत्पादन कर) 9.20 रुपये और 3.46 रूपये थी। जिसे सरकार ने बढ़ाकर 32.98 रुपये और 31.83 रुपये कर दिया है। इससे वैट का बोझ बढ़कर 18 रुपये प्रति लीटर हो गया है। पेट्रोल डीजल के कुल दाम में करीब 53 रुपये प्रति लीटर टेैक्स वसूला जा रहा है । जब 2014 में आरएसएस-भाजपा सरकार बनी थी तब कच्चे तेल का अंतराष्ट्रीय दर 106 डालर प्रति बैरल था (159.5 लीटर)। आज यह करीब 63 डालर है। इस प्रकार सरकार ने डीजल तथा पेट्रोल पर अत्यधिक टैक्स बढ़ाकर देशवासियों को लूटने का काम किया है। यह किसानों और आम आदमी पर सीधा बोझ है और सरकार इसे जान बूझ कर लाद रही है ताकि इस वसूली से देश के सबसे अमीर 50 परिवर जिनका अप्रैल 2020 में बैंकों के 68,607 करोड़ रुपये का बकाया कर्ज वापस किया है उसकी भरपाई कर सके। इनकी भनक देशवासियों को ना हो इसके लिए उनकी भावनाओं से खेलते हुए रो-रोकर अपनी नाकामियों के लिए देश के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरु जी को जिम्मेदार ठहराते फिर रहे हैं। सत्ता में चाहे कांग्रेस रहे या बीजेपी दोनों की राजनीतिक नूरा कुश्ती में आम जनता ही पीस रही है ।