लखनऊ।बेरोज़गारी और परेशानी इंसान को ले डूबती है , मज़बूरी में इंसान कुछ भी करने को तैयार हो जाता है और ऐसे ही लोगों का फायदा उठाते है कुछ शातिर लोग जो जालसाज़ी ,और बेईमानी , करके लोगों को बेवक़ूफ़ बना कर खुश होते है लेकिन जिस दिन इनपर रस्सी कस्ती है और इनके गृह नक्षत्र ख़राब होते है ,उसी दिन अपनी औक़ात में आ जाते है |ऐसा ही एक मामला सामने आया जहाँ
उत्तर प्रदेश की स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) ने सरकारी विभागों में नौकरी दिलाने के नाम पर 500 से ज्यादा लोगों से 6 करोड़ रुपये ठगने वाले गिरोह का भंडाफोड़ किया है। इस सिलसिले में गुरुवार को विभूति खंड थाना क्षेत्र से चार लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
गिरफ्तार लोगों की पहचान लखनऊ के रहने वाले अरुण कुमार दुबे, अनिरुद्ध पांडे, खालिद मुनव्वर बेग और अनुराग मिश्रा के रूप में हुई है।
पुलिस ने इनके पास से फर्जी जॉब/अपॉइंटमेंट लेटर, 9 एटीएम कार्ड, 6 मोबाइल फोन, एक विधानसभा प्रवेश पास, 2 चौपहिया वाहन और 2,387 रुपये नकद बरामद किए हैं।
एएसपी, एसटीएफ, विशाल विक्रम सिंह ने कहा, “अरुण कृषि कुंभ प्राइवेट लिमिटेड नाम की कंपनी के निदेशक हैं, जबकि बाकी बदमाश गिरोह में शिकारियों की तरह काम करते हैं और वे पीड़ितों को फंसाते हैं। अरुण गिरोह का नेता है, जिसने कृषि कुंभ, मदरहुड केयर और अन्य गैर सरकारी संगठनों जैसी कंपनियों का गठन किया और इन फर्मों के माध्यम से उन्हें सरकारी विभागों में नौकरी प्रदान करने के लिए निर्दोष लोगों से बड़ी रकम मिली।”
अरुण को इससे पहले 2015 में अलीगंज की एक कंपनी में मैनेजर के रूप में कंप्यूटर और अन्य गैजेट चोरी करने के आरोप में जेल भेजा गया था।
उन्होंने गोरखपुर से बी.टेक किया है और कई निजी दूरसंचार कंपनियों में काम किया है।
यह गिरोह पुलिस के रडार पर तब आया, जब इंदिरा नगर थाने में धोखाधड़ी का मामला दर्ज कर एसटीएफ को मामले की जांच के लिए कहा गया।