राम कैलाश पटेल की रिपोर्ट
अमेठी जिले के भादर ब्लाक अंतर्गत दुर्गापुर ग्राम सभा में गजब का खेल अमेठी में, सामुदायिक शौचालय चालू न हुआ,साफ सफाई के नाम से हड़पे 27000,हमेशा लटका रहता है ताला अभी तक चालू नही हुआ शौचालय,उच्च अधिकारियों की मिली भगत से प्रधान प्रतिनिधि, सचिव मिलकर डकार रहे विकास के पैसे ।आपात्रों को मिल रहा आवास। जिसकी सच्चाई जब पत्रकारों द्वारा खबर चलाई गई तो प्रधान को नागवर गुजरा और पत्रकार को फसाने का फंड़ा खोजने लगे। फर्जी मेडिकल, फर्जी एससी एसटी एक्ट तमाम तरह के जोर आजमाइश कर एफ आई आर दर्ज करवाया गया। जिस पर पीपरपुर थाने द्वारा जांच के बाद सच्चाई सामने निकलकर आई तो प्रधान प्रतिनिधि कालेधन की तरह चेहरा सफेद करने के लिए प्रशासन को एक पक्ष जांच के दोषी ठहराने लगे। आखिर महंगाई की मार झेलता किसान, गरीब मजदूर अपना सर्वस्व देकर ₹300 की नौकरी करता है ।वह अपना बच्चा, परिवार किस तरह पालता है।वो ही जानता है। सरकारें बनती है और गरीबों को फिल्मों की तरह मोहरा बनाकर सत्ता पर काबिज हो जाती है उसके बाद खेला खेला जाता है। अधिकारियों कर्मचारियों द्वारा। एक प्रधान ग्राम सभा से चुना जाता है विकास करने के लिए लेकिन वही प्रधान तमाम तरह के अधिकारियों से मिलकर कालाबाजारी करना चालू कर देता है ना खड़ंजा न नाली न शौचालय, आवास न राशन कार्ड सुधार के नाम पर विकास के नाम पर खाली थाली के समान ही रखा जाता है ।और अगर कहीं पत्रकार इस की करतूतों को उजागर करता है तो वह सबसे बड़ा दोषी बन जाता है। वैसे तो सरकार द्वारा बड़ी-बड़ी ड़ींगे मारी जाती हैं। पत्रकारों को पूर्ण सुरक्षा दी जाएगी पत्रकारों के साथ अभद्रता करने पर जेल होगी जुर्माना लगेगा। लेकिन इसमें भी केवल मूर्ख बनाने का कार्य किया जाता है अपना और अपनी पार्टी का प्रचार प्रसार किया जाता है। प्रधान चाहे पीली ईट लगवाए या नीली, नाली से पानी चाहे घर में जाए या घर से बाहर, पानी में रास्ता नहीं जाता रास्ते में पानी जाता है। आवास झोपड़ी वाले को नहीं राजनीति खोपड़ी वाले को दिया जाता है।