उपायुक्त ने किया जिला कौशल समिति की बैठक

शेखर की रिपोर्ट
समाहरणालय स्थित कार्यालय कक्ष में उपायुक्त कुलदीप चौधरी ने सोमवार को जिला कौशल सिमिति की बैठक की। बैठक में उप विकास आयुक्त जय किशोर प्रसाद, अनुमंडल पदाधिकारी चास दिलीप प्रताप सिंह शेखावत, श्रम अधीक्षक सह जिला कौशल पदाधिकारी हरेंद्र कुमार सिंह आदि उपस्थित थे। मौके पर श्रम अधीक्षक सह जिला कौशल पदाधिकारी हरेंद्र कुमार सिंह ने समिति को बताया कि वर्तमान में प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना (पीएमकेवीवाई) का तीसरा चरण (3.0) संचालित है। इसे इसी वर्ष प्रधानमंत्री द्वारा देश के सभी राज्यों के 600 जिलों में लॉन्च किया गया है। इस चरण में कोरोना से संबंधित कौशल योजना पर ध्यान केंद्रित किया गया है। पीएमकेवीवाई का उद्देश्य देश के युवाओं को उद्योगों से जुड़ी ट्रेनिंग देना है जिससे उन्हें रोजगार पाने में मदद मिल सके। बताया कि जिला स्तर पर सिविल सर्जन द्वारा ऐसे कितने पदों पर किस ट्रेड में अभ्यर्थियों की आवश्यकता है, इसके लिए पूर्व में पत्राचार किया गया था। विभाग द्वारा कुल छह पदों (जनरल ड्यूटी असिस्टेंट, जनरल ड्यूटी असिस्टेंट एडवांस, होम हेल्थ हेंडलर, इमरजेंसी मेडिकल टेकनीशियन, जनरल डिस्पैंशनरी असिस्टेंट आदि) में 76 अभ्यर्थियों की आवश्यकता की बात कहीं गई थी। इसके लिए इच्छुक अभ्यर्थियों से आवेदन आमंत्रित किया गया था। जिला कौशल विभाग को कुल 83 आवेदन प्राप्त हुए थे, जिसमें स्कुटनी के बाद 70 वैद्य आवेदन बचे। प्राप्त अभ्यर्थियों को प्रशिक्षण देने का कार्य किया जाना है। राज्य से जिले के लिए अब तक *प्रशिक्षण सेवा उपलब्धता (टीएसआर) उपलब्ध नहीं है। उन्होंने कहा कि पड़ोसी जिलों देवघर/हजारीबाग/कोडरमा में कुछ टीएसआर को टैग किया गया है, जहां प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इस पर उपायुक्त कुलदीप चौधरी ने राज्य मुख्यालय को इस बाबत पत्र लिख टीएसआर कंपनी को टैग करने या फिर आस – पास के जिलों में प्रशिक्षण कार्य कर रही टीएसआर कंपनियों द्वारा प्रशिक्षण दिए जाने के लिए अनुमति प्राप्त करने को कहा। उन्होंने स्वास्थ्य क्षेत्र से संबंधित विभिन्न ट्रेडों में प्रशिक्षण दिए जाने के संबंध में पूछा। जिस पर जिला कौशल पदाधिकारी द्वारा बताया कि जिले में शहरी क्षेत्र में एनयूएलएम, ग्रामीण क्षेत्र में जेएसएलपीएस के एनआरयूएलएम व जिला कौशल विभाग द्वारा प्रशिक्षण दिया जाता है। उन्होंने सभी संबंधित विभागों से ट्रेड वार कितने युवक – युवतियों को किस – किस ट्रेड में प्रशिक्षण दिया गया है। उसका प्रतिवेदन अगली बैठक में प्रस्तुत करने को कहा। साथ ही जिले में संचालित विभिन्न सरकारी एवं निजी अस्पतालों में कितने मैन पावर की आवश्यकता है किस ट्रेड में उससे संबंधित प्रतिवेदन भी उपलब्ध कराने को कहा। उन्होंने बैठक में उपस्थित सिविल सर्जन डा. जितेंद्र कुमार को निजी अस्पतालों के प्रबंधकों के साथ बैठक कर इस संबंध में प्रतिवेदन प्राप्त करने को कहा। साथ ही, उपायुक्त ने सभी विभागों को अपने यहां कंट्रैक्चूअल रिक्त पदों से संबंधित विवरणी भी समिति के समक्ष प्रस्तुत करने को कहा। बैठक में कार्यरत कर्मियों का कार्य कौशल बढ़ाने को लेकर प्रतिदिन लंच आवर में प्रशिक्षण मुहैया कराने, आइटीआइ/ पोलटेकनिक आदि संस्थानों में प्रशिक्षण, योजना से संबंधित प्रचार – प्रसार समेत कई अन्य बिंदुओं पर चर्चा हुई और संबंधित पदाधिकारी को जरूरी निर्देश दिया। उपायुक्त ने मासांत तक इसकी दूसरी बैठक आयोजित करने का निर्देश दिया। बैठक में अपर नगर आयुक्त अनिल कुमार सिंह, विशेष कार्य पदाधिकारी विवेक सुमन, जिला शिक्षा पदाधिकारी नीलम ऑइलीन टोप्पो, जिला समाज कल्याण पदाधिकारी विणा कुमारी, सहायक जनसंपर्क पदाधिकारी अविनाश कुमार, विभिन्न पीएसयू के प्रतिनिधि उपस्थित थे।